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गोल्ड की इन तीन स्कीम में करें निवेश, मिलेगा शानदार रिटर्न

कोरोना वायरस की इस महामारी में हर तरफ तबाही मची हुई है। आर्थिक सुस्ती पूरी दुनिया में छाई हुई है। जो निवेशक हैं वो सुरक्षित निवेश का ठिकाना ढूंढ रहे हैं। अगर आप भी अपने निवेश में शानदार रिटर्न चाहते हैं तो आप सोने में निवेश कर सकते हैं। साल के शुरुआत से ही सोने के भाव में तेजी देखने को मिल रही है। शुरु में सोने की कीमत 37,000 रुपये 10 ग्राम थी, जो कि अब बढ़कर आपको ETF में निवेश क्यों करना चाहिए 47,000 रुपये प्रति दस ग्राम तक हो गई है। अगर आप निवेशक हैं तो अपने पोर्टफोलियों में सोने का निवेश जरूर रखें। हम आपको निवेश के तौर पर 3 गोल्ड ETFs का सुझाव दे रहे हैं। जिसमें आप जान जाएंगे कि इसमें निवेश करना कितना सरल है और इसमें क्यों निवेश करना चाहिए।

गोल्ड ETF क्या है और इसे क्यों खरीदना चाहिए

अगर आप पहले से ही शेयरों में आपको ETF में निवेश क्यों करना चाहिए निवेश कर चुके हैं तो आप शेयरों के साथ-साथ गोल्ड ETFs भी खरीद सकते हैं। कुल मिलकार कहने का मतलब ये हुआ कि जिस तरह से आप ICICI Bank का एक शेयर खरीद सकते हैं, उसी तरह आप गोल्ड ETFs का भी एक हिस्सा खरीद सकते हैं। शेयरों की तरह स्टॉक एक्सचेंजों पर कारोबार करते आपको ETF में निवेश क्यों करना चाहिए हैं और शेयरों की तरह कभी खरीदा बेचा जा सकता है। वो सोने की की कीमतों को ट्रैक करते हैं, इसीलिए जब सोने की कीमतें बढ़ती है, तो वो भी मिलकर बढ़ाते हैं।

आपको सोने में निवेश क्यों करना चाहिए? जानें ऐसे 5 आपको ETF में निवेश क्यों करना चाहिए कारण जो गोल्ड इन्वेस्टमेंट को बनाते है सबसे बेहतर

Gold Investment: माना जाता है कि सोने और इक्विटी का उलटा संबंध होता है। जिसका अर्थ है कि जब शेयर मूल्य में गिरते हैं तो सोने का मूल्य बढ़ता है। ऐसे ही 5 और कारण इस पोस्ट में जानिए गोल्ड इन्वेस्टमेंट को बनाते है सबसे बेहतर।

Gold Investment: हमारे देश भारत में सोने को सदियों से निवेश के लिये सबसे उपयुक्त साधन माना गया है। यह निवेशकों के लिए एक सुरक्षित ठिकाना है माना जाता है, क्योंकि इसने हमेशा अपनी क्रय शक्ति को बनाए रखा है। लेकिन समय के साथ अब गोल्ड खरीदने का तरीका बदल गया है। डिजिटल गोल्ड ने सोने के निवेश को सहज और किफायती बनाकर लोगों के सोने को खरीदने और बेचने के आपको ETF में निवेश क्यों करना चाहिए तरीके में क्रांति ला दी है।

इस पोस्ट में हम आपको बताएंगे कि आपको सोने में निवेश क्यों करना चाहिए।

निवेशकों को सलाह - जल्दबाजी में निर्णय न लें

“निवेशकों को घबराहट में या जल्दबाजी में गोल्ड ईटीएफ से निकासी नहीं करनी चाहिए,” यह कहना है आईआईएफएल के उपाध्यक्ष अनुज गुप्ता का। गुप्ता के अनुसार शेयरों में तेजी का लाभ लेने के लिए निकासी अभी नहीं करनी चाहिए। उन्हें उम्मीद है कि रूस-यूक्रेन के संकट और चीन-ताइवान के तनाव को देखते हुए सोने की कीमतों में उछाल आ सकता है। वहीं भारत में भी त्योहारों का समय आने वाला है। ऐसे में गोल्ड ईटीएफ में यदि निवेश किया जाए और यह निवेश बनाए रखा जाए तो यह सौदा मुनाफे वाला हो सकता है।

गोल्ड ईटीएफ में ₹20,038 करोड़ का निवेश है और ईएलएसएस में ₹1.47910 करोड़ का निवेश है। वहीं मल्टी कैप फंड में ₹59,303 करोड़ और मिड कैप फंड में ₹168,438 करोड़ का निवेश है। अगर लार्ज कैप फंड में कुल निवेश की बात आपको ETF में निवेश क्यों करना चाहिए की जाए तो यह ₹231,851 करोड़ है तो स्मॉल कैप फंड में ₹113,332 करोड़ और फोकस फंड में ₹99,933 करोड़ का निवेश है।

Gold ETF के बारे में जानकारी​​​

Gold ETF: म्यूचुअल फंड उद्योग संगठन की रिपोर्ट के अनुसार पिछले महीने सोने में निवेश करनेवाले खाताधारकों की संख्या में वृद्धि हुई है। लेकिन साथ ही निवेशकों द्वारा निकासी भी की जा रही है। देखा गया है कि जुलाई के महीने में सोने में निवेश के लिए निवेशकों का रुझान कम हुआ है। ईटीएफ गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड के मुताबिक 2022 में जुलाई माह के आपको ETF में निवेश क्यों करना चाहिए दौरान ₹457 करोड़ निकाले गए हैं। लेकिन वहीं इसी महीने ईटीएफ फोलियो की संख्या में 37,500 की बढ़त भी हुई है। फोलियो की कुल संख्या अब 46.43 लाख हो गई है। इस लेख में जानने की कोशिश करेंगे कि निवेशकों ने निकासी किन कारणों से की होगी।

दरअसल गोल्ड ईटीएफ एक अच्छा विकल्प है आपको ETF में निवेश क्यों करना चाहिए यदि आप सोने में निवेश करना चाहते हों। यह म्यूचुअल फंड का हिस्सा है और इसकी खरीद यूनिट के हिसाब से की जाती है। इसमें शेयर की तरह ही कारोबार होता है। यूनिट बेचने पर निवेशक को सोने के मूल्य के बराबर रकम मिलती है, सोना नहीं मिलता। यह एक ग्राम सोने के जेवर खरीदने से सस्ता और अच्छा विकल्प है। एक ग्राम के जेवर, एक ग्राम सोने के यूनिट से कहीं अधिक महंगे होते हैं क्योंकि उस पर मेकिंग चार्ज का भी अतिरिक्त भुगतान ग्राहक को करना पड़ता है। गोल्ड ईटीएफ के निवेश में ऐसा कोई अतिरिक्त चार्ज भी नहीं है और इसमें चोरी का भी कोई डर नहीं है।

आखिर निवेशकों ने क्यों की निकासी

ऐसा माना जा रहा है कि

  • शेयरों में तेजी होने के कारण उसका लाभ लेने की दृष्टि से निकासी की जा रही है।
  • ब्याज की दरों में वृद्धि होने के कारण पीली धातुओं की कीमतों में कमी आई है जिसके कारण भी ईटीएफ से निकासी की गई।
  • सोने की मांग और आपूर्ति पर रुपये में गिरावट का भी असर पड़ा है।
  • गोल्ड ईटीएफ की ओर निवेशकों का रुझान कम होने का कारण सोने की कम कीमत भी माना जा रहा है और इसके कारण निकासी की गई है।

आपको ETF में निवेश क्यों करना चाहिए

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भारत 22 ETF में निवेश करना क्यों ठीक नहीं है?

नरेंद्र नाथन
आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल म्यूचुअल फंड ने भारत 22 ईटीएफ के लिए फर्दर फंड ऑफर (FFO) पेश किया है। यह एफएफओ 19 से 22 जून तक ओपन रहेगा। इससे पहले के न्यू फंड ऑफर (NFO) की तरह एफएफओ का मकसद केंद्र सरकार को डिसइनवेस्टमेंट टारगेट हासिल करने में मदद करना है। रिटेल इनवेस्टर्स को खींचने के लिए यह 2.5 पर्सेंट का अपफ्रंड डिस्काउंट ऑफर कर रहा है। एनएफओ में 3 पर्सेंट डिस्काउंट दिया गया था। भारत 22 ईटीएफ के दूसरे आकर्षक पहलुओं में महज एक बेसिस प्वाइंट का बेहद कम एक्सपेंस रेशियो शामिल है, जिससे यह भारत का सबसे सस्ता ईटीएफ बन गया है। इसके अलावा इसके पोर्टफोलियो पर 2.6 पसेंट का डिविडेंड यील्ड है, जबकि सेंसेक्स के मामले में आंकड़ा 1.14 पर्सेंट का है।

हालांकि जिन एक्सपर्ट्स से हमने बातचीत की, उनमें से अधिकतर ने इस फंड में निवेश नहीं करने की सलाह दी। लैडरअप वेल्थ मैनेजेंट के एमडी राघवेंद्र नाथ ने कहा, 'भारत 22 ईटीएफ न तो एक्टिवली मैनेज्ड फंड है औ न ही किसी ऐसे बेंचमार्क पर आधारित ईटीएफ है जिसकी अपनी विशेषताएं हों। चूंकि इसके पोर्टफोलियो में चुनिंदा स्टॉक्स (उन कंपनियों के शेयर, जिनमें सरकार अपना हिस्सा बेचना चाहती है), लिहाजा रिटेल इनवेस्टर्स के लिए इसमें निवेश करने की कोई तुक नहीं दिख रही है।' इस स्कीम का अपना बेंचमार्क एसएंडपी बीएसई भारत 22 है, लेकिन यह बेंचमार्क भी उन शेयरों को मिलाकर बनाया गया है, जिनमें यह स्कीम निवेश करेगी।

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